अमेरिका और कनाडा के बीच चल रहे टैक्स विवाद में अब बड़ी राहत की खबर आई है। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की सख्त चेतावनी के बाद कनाडा ने अपने कदम पीछे खींच लिए हैं। रविवार देर रात कनाडा सरकार ने यह ऐलान किया कि वह अमेरिकी टेक कंपनियों पर लगाया जाने वाला डिजिटल सर्विस टैक्स (DST) फिलहाल रोक रही है।
यह टैक्स सोमवार से लागू होने वाला था। इसके तहत ऐसी सभी विदेशी डिजिटल कंपनियों पर 3% टैक्स लगाया जाना था, जो कनाडा के यूजर्स से हर साल 20 मिलियन कनाडाई डॉलर से अधिक की डिजिटल कमाई करती हैं। यह टैक्स सीधे तौर पर गूगल (अल्फाबेट), मेटा, अमेज़न और एप्पल जैसी प्रमुख अमेरिकी टेक कंपनियों को प्रभावित करता।
इस फैसले से कुछ दिन पहले ही, 28 जून को, अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने इस टैक्स का विरोध करते हुए इसे “अमेरिका पर सीधा और स्पष्ट हमला” बताया था। इसके बाद उन्होंने कनाडा के साथ चल रही व्यापार वार्ताएं रोकने की घोषणा कर दी थी। साथ ही उन्होंने यह भी कहा था कि यदि कनाडा पीछे नहीं हटा, तो अमेरिका कनाडा से आने वाले उत्पादों पर नए टैरिफ लागू करेगा।
ट्रंप की इस चेतावनी के बाद कनाडा की तरफ से रुख नरम पड़ता दिखा। रविवार रात कनाडा के वित्त मंत्रालय ने बयान जारी कर कहा कि डिजिटल टैक्स फिलहाल लागू नहीं किया जाएगा। मंत्रालय ने यह भी जानकारी दी कि अब प्रधानमंत्री मार्क कार्नी और राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के बीच 21 जुलाई 2025 से पहले दोबारा व्यापार वार्ता शुरू होगी, ताकि दोनों देशों के बीच कोई नया व्यापार समझौता किया जा सके।
यह पूरा घटनाक्रम अमेरिका और कनाडा के बीच संबंधों को एक बार फिर संवेदनशील मोड़ पर ले आया है। हालांकि फिलहाल तनाव में कमी आई है, लेकिन भविष्य में दोनों देशों के बीच आर्थिक समझौतों और टैक्स नीति को लेकर फिर से टकराव हो सकता है।
निष्कर्ष
कनाडा का यह फैसला अमेरिका के साथ व्यापार संबंधों को संभालने की एक कोशिश माना जा रहा है। वहीं, ट्रंप की सख्त प्रेशर पॉलिटिक्स ने एक बार फिर असर दिखाया है। अब यह देखना होगा कि 21 जुलाई से पहले होने वाली बातचीत किस नतीजे तक पहुंचती है — क्या दोनों देश किसी स्थायी समझौते पर पहुंचेंगे या फिर यह राहत सिर्फ अस्थायी होगी?